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नीमच। जिले की सिंगोली तहसील के ग्राम खजूरिया से एक चौंकाने वाला मामला सामने आया है, जहाँ एक गरीब और अनपढ़ मजदूर परिवार ने अपनी कृषि भूमि पर जबरन कब्जे का आरोप लगाते हुए कलेक्टर हिमांशु चंद्रा के नाम आवेदन सौंपा। आवेदक रामचंद्र और किशन, पिता भागु, निवासी ग्राम खजूरिया (वर्तमान में कंवरजी का खेड़ा), ने जिला प्रशासन से अपनी पुश्तैनी जमीन को भू-माफिया से मुक्त कराने और दोषी के खिलाफ सख्त कार्रवाई की मांग की है. क्या है पूरा मामला? पीड़ितों पर अत्याचार और पलायन प्रशासन से न्याय की गुहार - |
नीमच। जिले की सिंगोली तहसील के ग्राम खजूरिया से एक चौंकाने वाला मामला सामने आया है, जहाँ एक गरीब और अनपढ़ मजदूर परिवार ने अपनी कृषि भूमि पर जबरन कब्जे का आरोप लगाते हुए कलेक्टर हिमांशु चंद्रा के नाम आवेदन सौंपा। आवेदक रामचंद्र और किशन, पिता भागु, निवासी ग्राम खजूरिया (वर्तमान में कंवरजी का खेड़ा), ने जिला प्रशासन से अपनी पुश्तैनी जमीन को भू-माफिया से मुक्त कराने और दोषी के खिलाफ सख्त कार्रवाई की मांग की है.
क्या है पूरा मामला?
रामचंद्र और किशन बलाई जाति के होकर मजदूरी का कार्य करते हैं. उनका कहना है कि उनकी एकमात्र आजीविका का साधन ग्राम खजूरिया स्थित सर्वे क्रमांक 4/4 रकबा 1.045 हेक्टेयर कृषि भूमि है. वे बताते हैं कि इस भूमि पर उनका सालों से कब्जा था, लेकिन पिछले करीब पांच वर्षों से रतनलाल पिता रामलाल, जाति ब्राह्मण, निवासी खजूरिया, ने दादागिरी और मारपीट कर उनकी जमीन पर अवैध कब्जा कर लिया है.
पीड़ितों पर अत्याचार और पलायन
प्रार्थीगण का आरोप है कि जब भी वे अपनी जमीन का विरोध करते हैं, तो रतनलाल द्वारा उनके साथ मारपीट की जाती है और डराया-धमकाया जाता है। इस डर के कारण रामचंद्र और किशन अपने परिवार के साथ ग्राम कंवरजी का खेड़ा में निवास करने को मजबूर हैं, उनकी आर्थिक स्थिति बेहद दयनीय हो गई है, जिससे उनके परिवार का जीवन यापन करना मुश्किल हो गया है।
प्रशासन से न्याय की गुहार -
पीड़ित परिवार ने जिला प्रशासन से भू-माफिया रतनलाल के खिलाफ दंडात्मक कार्रवाई करते हुए उनकी कृषि भूमि को तत्काल मुक्त कराने की अपील की है. उन्होंने अपने आवेदन के साथ पूर्व में दिए गए आवेदन की प्रति और खसरा खाता नकल की फोटोप्रति भी संलग्न की है.
यह मामला ग्रामीण क्षेत्रों में गरीब और अनपढ़ लोगों की जमीनों पर अवैध कब्जे की बढ़ती प्रवृत्ति को उजागर करता है, जिस पर प्रशासन को गंभीरता से ध्यान देने की आवश्यकता है।
NDA | INDIA | OTHERS |
293 | 234 | 16 |
NDA | INDIA | OTHERS |
265-305 | 200 -240 | 15-30 |